बाराबंकी। गुरुओं के गुरु स्वनामधन्य महागुरु डॉ भगवान वत्स की अन्तिम यात्रा में भारी भीड़ उमड़ पड़ी। सपा, भाजपा, कांग्रेस सहित अनेक दलों, साहित्यिक सामाजिक सांस्कृतिक संगठनों, से जुड़े लोगों ने अश्रुपूरित विदाई दी।वैसे तो डॉ वत्स जवाहरलाल नेहरू स्मारक परास्नातक महाविद्यालय में हिंदी विभाग के अध्यक्ष थे किन्तु समाज के अत्यंत सजग प्रहरी थे। वर्ष 1975 के आपात काल में जेल में भी रहे और शैक्षिक क्रियाकलापों के साथ वे समाजिक बुराइयों के खिलाफ निरन्तर लड़ते भी रहे।
हरिवंशराय बच्चन से लेकर श्री लाल शुक्ल जैसे अनेक महान साहित्यकारों का सानिध्य प्राप्त करने वाले, भाषा वैज्ञानिक डॉ० भगवान वत्स को गर्व से अपना गुरु मानने वालों की एक बड़ी सूची है। यही कारण है कि अंतिम यात्रा में कंधा देने वालों में परिजनों से अधिक संख्या अनेक सामाजिक साहित्यिक संगठनों से जुड़े लोगों की रही है। अनेक दलों के राजनेता भी शामिल रहे हैं।
सदस्य विधान परिषद राजेश यादव राजू पैतृक गांव ललकपुर पहुँच कर अंतिम संस्कार में शामिल हुए, पार्थिव शरीर पर पुष्प अर्पित कर श्रद्धांजलि दी तथा अन्तिम यात्रा में गुरुजी के पार्थिव शरीर को कन्धा दे महान व्यक्तित्व को अन्तिम विदाई दी।
एम एल सी राजू यादव सहित अनेक जनप्रतिनिधियों ने दिया कंधा
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